By : Sunayan Chaturvedi
कुश्ती पर बनी फिल्म ‘दंगल’ के लिए आमिर खान और अन्य कलाकारों को कुश्ती के दांव-पेंच सिखाने वाले इंदौर के अर्जुन अवार्डी पहलवान कृपाशंकर बिश्नोई ने वरिष्ठ पत्रकार सुनयन चतुर्वेदी से दूरभाष पर चर्चा में न्याय के लिए अपने अंतर्राष्ट्रीय प्रतियोगिता में जीते हुए पदकों को गंगा में बहाने की जिद पर अड़े पहलवानों से अपील की है कि किसी के भी द्वारा की गई कट्टरता से आहत होकर उन्हें अपनी मेहनत से अर्जित किए गए मेडल्स को गंगा में बहाने का निर्णय वापस लेना चाहिए | क्योंकि मेडल्स को गंगा में बहाने का निर्णय हताशा का प्रतीक है और हताश होकर कोई भी लड़ाई नहीं जीती जा सकती है | कुश्ती बुरे दौर से गुजर रही है। एक पहलवान होने के नाते आप इस बात को अच्छी तरह समझ गए हैं क्योंकि आपने जीवन भर संघर्ष किया है। मुझे यह सब देख कर अच्छा नहीं लग रहा, वैसे भी खिलाड़ी हर प्रतियोगिता जीतता तो नहीं है लेकिन हर प्रतियोगिता से जीते अथवा हारे वह सीखता जरूर है।